परतेंव तोरेच पांय (Parteu torech paiy)



खरिखा में लरिका लिये, देखेंव नन्द किशोर ।।
चरखा सरिखा तभिच-ले, गिंजरत है मन-मोर ।।1।।
कोनों जतन लगाय के, देते श्याम मिलाय ।।
धोकर धोकर के रात दिन, परतेंव तोरेच पांय ।।2।।

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